बैरीहार ग्राम पंचायत के पूर्व ग्राम प्रधान के घोटाले व भ्रष्टाचार की खुली पोल

पूर्व प्रधान राजदेई रामदास के घोटाले और भ्रष्टाचार ऊपर एक नजर डालिए और पढ़िए,
जिन्होंने अपनी प्रधानी में जमकर भ्रष्टाचार किया है अपनी पत्नी के नाम स्वयं आवास दिलाया है, अपने दोनों बच्चों के नाम आवास दिलाया है और तीनों आवास बने भी हुए हैं अपनी तीसरी बहू का नाम इन्होंने लिस्ट में डाल रखा था जिसको पूर्व सचिव की जांच में अपात्र पाया गया था।
पूरा मकान पक्का बना हुआ था सिर्फ दिखाने के लिए बाहर एक दीवाल कच्ची और बंगला रखा हुआ था जबकि बबली से ही पूछा गया था कि आप खाना कहां बनाते हैं तो उन्होंने गैस सिलेंडर दिखाते हुए बताया कि मैं खाना घर के अंदर कमरे में बनाते हैं, पूर्व प्रधान राजदेई पत्नी रामदास को पूर्व में इंदिरा आवास मिल चुका है,।
लालती पत्नी हरकेश को प्रधानमंत्री आवास मिल चुका है
जो कि पूर्व प्रधान राज देई पत्नी रामदास की बहू हैं।
तथा इनकी दूसरी बहू को संगीत पत्नी सुशील कुमार को प्रधानमंत्री आवास मिल चुका है
अपनी तीसरी बहू के लिए इन्होंने अपने कार्यकाल में उनका नाम आवास लिस्ट में तथा पूरा घर पक्का होने के कारण उन्होंने जांच अधिकारी को सिर्फ कच्चा घर दिखाया जिससे कि इनको आवास मिल सके लेकिन इनकी बहू ने जांच अधिकारी को स्वयं बताया कि वह पक्के आवास में अपने सास ससुर द्वारा बनाए गए मकान में रह रहे हैं,
प्रधान होते हुए भी इन्होंने ग्राम सभा में जमकर भ्रष्टाचार किया है और अपने ही परिवार तथा अपने सगे बेटों को आवास देकर गरीबों को उनके हक से वंचित भी किया है यदि इसकी जांच जिला अधिकारी से कराई जाए तो स्वयं ही खुद के सवालों के कठघरे में खड़े मिलेंगे,
₹43000 की कुर्सी मेज अलमारी दरी राउंड चेयर आदि इन्होंने चार्ज में नहीं दिया है तथा जनसूचना में ग्राम विकास अधिकारी द्वारा बताया गया था कि सारा सामान ग्राम प्रधान के आवास में सुरक्षित रखा हुआ है,
शांति के घर से राम आधार के घर तक बनी पक्की नाली 2015-16 में बनाई गई मनरेगा से नाली को तुड़वा कर दो हजार अट्ठारह उन्नीस में एवं पाइप डलवा कर नाली बनाई गई जबकि उसमें से निकाली गई पुरानी ईटों का बंदरबांट कर खुद स्वयं रख लिया,
मनरेगा से बनाई गई नाली जिसका लागत लगभग ₹300000 पहले थी और इनके द्वारा एवं पाइप द्वारा लगभग 2 लाख रूपए का उसी काम पर व्यय किया गया,
जबकि मनरेगा से बनी हुई नाली का सिर्फ मरम्मत कराने का कार्य हो सकता है उसे तुड़वाने का कार्य नहीं हो सकता है,
प्रधान होते हुए अपने कार्यकाल में इनके द्वारा अपने चचेरे भाइयों को जिनको पूर्व में इंदिरा आवास मिल चुका था उन्हीं के नाम दोबारा प्रधानमंत्री आवास दिया गया है
राजकली पत्नी बुद्धू लाल मालती पत्नी राम बक्सऔर देवकली पत्नी रामकिशन को पूर्व में इंदिरा आवास मिला हुआ है उसके बाद वह आवस को तोडवा कर दोबारा प्रधानमंत्री आवास दिया गया यही इनके भ्रष्टाचार की कहानी है
ग्राम पंचायत में बनाए गए सामुदायिक शौचालय में ना तो समर्सिबल पंप लगाया गया था।
जबकि उसका पूरा भुगतान इनके और सचिव के द्वारा कर लिया गया है।
पूर्व प्रधान राजदेई पत्नी रामदास तथा कुछ तथाकथित पत्रकारों द्वारा उनकी मांगे पूरी ना होने के कारण साजिश रच कर एक मौजूदा ग्राम प्रधान का नाम बदनाम किया करने की पूरी तरह से षड्यंत्र कर रहे हैं जबकि इससे पहले उन्होंने अपने कार्यकाल में मौजूदा ग्राम प्रधान करन बहादुर सिंह के ऊपर इन्होंने एससी एसटी का झुठा मुकदमा भी लिखवाया था,
यदि पूर्व प्रधान के कार्यों को जिले की टीम गठित करके जांच करवाई जाए तो और भी कई सारी सीजन निकल कर सामने आएंगी फिलहाल इस भ्रष्ट पूर्व प्रधान पर क्या कार्यवाही होती है अब यह देखने की बात होगी जिन्होंने सरकारी धन का इतना दुरुपयोग किया है।